आनंदमयी कविता शिक्षण
How to make Hindi class interesting and innovative, आनंदमयी कविता शिक्षण
संजय कुमारकविता शिक्षण
कविता शिक्षण आज भी उन्हीं तौर तरीकों पर आधारित है,जो बहुत पहले से प्रयोग में लाए जा रहें हैं। इसका ये अर्थ नहीं की वे तरीके काम के नहीं हैं,पर कुछ बदलाव आवश्यक हैं। विद्यार्थी अगर एक ही तरीके से हर कक्षा में प्रत्येक कविता को पढता है तो बोरियत और दोहराव के कारण उससे जुड़ नहीं पाता। यह उसकी निम्न उपलब्धि का कारण बन जाता है।इस लेख को छोटा रखना चाहता हूँ क्योंकि आपके लिए एक विडियो साँझा कर रहा हूँ। इसे देखने के बाद यदि आप कुछ सुझाना चाहते हैं या जानना चाहते हैं तो अगली पोस्ट में उस पर चर्चा की जा सकती है।
कविता शिक्षण में अध्यापक को किन बांतों को ध्यान में रखना है।
1. कविता भाषा का आनंद लेने का माध्यम है।
2. विद्यार्थी आनंद महसूस करे।
3. बच्चों का मन वाह करने को करे।
4. विद्यार्थियों में मूल्यांकन का भय न हो।
5. विद्यार्थी अपने आप अगली कविता पढ़ने को आतुर हों।
6. विद्यार्थी अपनी कविता लिखने का प्रयास करें।
7. छात्रों में उत्सुकता रहे कि अब अध्यापक कविता कैसे पढ़ाएंगे।
इन सब बिन्दुओं को अध्यापक कैसे अपने शिक्षण में ध्यान रख सकता है? यह इस विडियो में दर्शाने का प्रयास है। आप यह विडियो पूरा देखिये और सुझाये इसे कैसे और बेहतर कियाजा सकता है।
वीडियो लिंक नीचे दिया गया है ।
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